आत्मचिंतन के सूत्र: || निर्णय लेने की कला | The Art of Decision Making! | Sudhanshu Ji Maharaj

आत्मचिंतन के सूत्र: || निर्णय लेने की कला | The Art of Decision Making! | Sudhanshu Ji Maharaj

निर्णय लेने की कला!

The Art of Decision Making!

आत्मचिंतन के सूत्र: निर्णय लेने की कला!

हमारी आदतें हमारे जीवन को चलाती है। अच्छी आदतें और सही निर्णय जीवन को आसान बनाती है , बुरी आदतें जीवन को मुश्किल में डालती है।

अपने शरीर की देखभाल करे- आपको यहां जीवनभर रहना है। भले ही साधन कम हो, लेकीन शरीर उत्तम हो तो आप खुशहाल होंगे‌। अमीरी हो पर शरीर बीमार हो, तो अमीरी किसी काम की नही।

रोने से आंसु भी पराए हो जाते है और मुस्कुराने से पराए भी अपने हो जाते है‌। इसलिए मुस्कुराते रहो।

अपने आंसु अपने गुरू या परमात्मा के आगे ही प्रकट करे। दुनिया के सामने नही। दुनिया मजाक उड़ाएगी।

कमजोर का कोई साथी नही। हिम्मत बहोत बड़ी शक्ती है।

भगवान ही आपके साथ हरपल रहता है। वही आपका सहारा है। आपके दर्द और आसुओं का हिसाब वहीं होता है- वहीं संकटमोचक है।

भगवान श्रीकृष्ण पार्थ के सारथी है। जीवन में मौका मिले तो किसी के सारथी जरूर बने पर स्वार्थी ना बने।

जब आप किंकर्तव्यमूढ होते हो तो निर्णय लेने की कला शक्ती गीता से मिलती है। हर दिन अभ्यास करे – उच्च निर्णायक बने। आपके निर्णय ही आपका भविष्य बनाते है।

निर्णय हमेशा शांत मस्तिष्क से ले। उतावलापन और जल्दबाजी से बचे। भावुकता और जोश में भी फैसला ना ले।

निर्णय मे हम चुनाव करते है। हम सही चुनाव कर सके इसके लिए भगवान से प्रार्थना करे की उचित मार्ग पर भगवान हमारी बुद्धि को प्रेरित करे।

 

3 Comments

  1. Kanchan suneja says:

    Guru dev ji pranam hari om ji
    Gurudev ji kerpa kro hmari tritiyo ko dur kro
    M nivi myra sadguru ucha
    Uchya nal m lai .
    Hari om ji guru dev ji

  2. Some people consider one person’s weakness as another person’s strength, which is wrong.
    Om Guruve Namah.

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