Atmachintan

May 5, 2022
जागो रे जिन जागना, अब जागन की बार

जागो रे जिन जागना, अब जागन की बार | आत्मचिंतन के सूत्र | Sudhanshu Ji Maharaj

जागो रे जिन जागना, अब जागन की बार सदगुरु जगा रहे हैं सोये हुए मनुष्यों जाग जाओ – मतलब नीद से जागना नही है , सदगुरु […]
April 28, 2022
सतगुरु से जीवन में उल्लास और सम्पूर्णता प्रवेश करती है!

आत्मचिंतन के सूत्र | सतगुरु से जीवन में उल्लास और सम्पूर्णता प्रवेश करती है! | Sudhanshu Ji Maharaj

सतगुरु से जीवन में उल्लास और सम्पूर्णता प्रवेश करती है! उल्लासपर्व , परम पूज्य सतगुरु सुधंशुजी महाराज का अवतरण दिवस! उतरा है कोई चाँद बनकर विश्व […]
April 21, 2022
Wise attributes of a karma yogi

कर्मयोगी के उत्तम लक्षण | आत्मचिंतन के सूत्र | Sudhanshu ji Maharaj

कर्मयोगी के उत्तम लक्षण अपने जीवन को कर्म से जोड़कर रखो, कर्म कभी छोड़ना नहीं क्योकि भाग्य तो परमात्मा के हाथमे है परंतु वह भी कर्मशील […]
April 14, 2022
श्रीमद भगवद गीता में से अनमोल कृष्ण सन्देश

श्रीमद भगवद गीता में से अनमोल कृष्ण सन्देश | आत्मचिंतन के सूत्र | Sudhanshu Ji Maharaj

श्रीमद भगवद गीता में से अनमोल कृष्ण सन्देश भगवान श्री कृष्ण का अर्जुन को कहते हैं- अंतकाले च मामेव स्मरन्मुक्त्वा कलेवरम् । यः प्रयाति स मद्भावं याति […]
April 7, 2022
आत्मचिंतन के सूत्र

सत्संग की महिमा | आत्मचिंतन के सूत्र | Sudhanshu Ji maharaj

सत्संग की महिमा सत्संग का अर्थ है सत्य का संग — यानि जो चर्चा हमे सत्य का बोध कराती है वही सत्संग है , सत्य है […]